
Delhi News: दिल्ली सरकार के मंत्री डॉ. पंकज सिंह ने ईवी 2.0 पॉलिसी जारी की, जो प्रदूषण को कम करेगी। वहीं, आयुष्मान भारत कार्यक्रम के अंतर्गत स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर बनाने के लिए किए जाने वाले उपायों का भी खुलासा किया।
दिल्ली में आने वाले कुछ दिनों में स्वास्थ्य और परिवहन काफी महत्वपूर्ण होंगे। दिल्ली सरकार के स्वास्थ्य, परिवहन और आईटी मंत्री डॉ. पंकज सिंह (Punkaj Singh) ने खास बातचीत में बताया कि 15 अप्रैल को दिल्ली सरकार EV 2.0 पॉलिसी की घोषणा करेगी, जिससे शहर में प्रदूषण के स्तर में भारी कमी आ जाएगी।
मंत्री डॉ. पंकज सिंह ने खास बातचीत में कहा कि परिवहन किसी भी देश के विकास में महत्वपूर्ण है। यह देखते हुए, दिल्ली सरकार बसों से होने वाले प्रदूषण को कम करने के लिए 10 से 15 दिनों के भीतर इलेक्ट्रिक बसें (EV) खरीदने जा रही है।
दिल्ली की स्वास्थ्य सेवाओं के लिहाज से भी पिछले 15 दिन अहम रहे। 5 अप्रैल को दिल्ली सरकार और केंद्र सरकार ने आयुष्मान भारत कार्यक्रम को लागू करने के लिए एक समझौता किया। 10 अप्रैल से दोनों सरकारों ने आयुष्मान आरोग्य मंदिर खोलने और हेल्थ इन्फ्रास्ट्रक्चर को सुधारने के लिए आयुष्मान भारत हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर मिशन (ABHIM) के तहत समझौता किया. इसके बाद योजना के रजिस्ट्रेशन भी शुरू हुए।
डॉ. पंकज सिंह ने बताया कि आयुष्मान योजना से अब तक 1 लाख 75 हजार से अधिक परिवार जुड़ चुके हैं और उनके पास ई-कार्ड मिल चुके हैं। अगले सप्ताह हर विधानसभा में सरकार लाभार्थियों को कार्ड देगी।
पंकज सिंह ने कहा कि 70 आयुष्मान आरोग्य मंदिर जल्द ही खुलेंगे।
स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि अगले दो से तीन सप्ताह में दिल्ली में सत्तर आयुष्मान आरोग्य मंदिर खोले जाएंगे। सरकार का लक्ष्य है कि 1139 आयुष्मान आरोग्य मंदिर एक वर्ष के भीतर खोले जाएं। उनका कहना था कि अस्पताल में भर्ती होने वाले मरीजों की संख्या पचास प्रतिशत तक कम हो सकती है अगर प्राथमिक इलाज बेहतर होता है। इन मंदिरों में डॉक्टर, बेड, जांच केंद्र और फ्री दवाइयां होंगी। उनका दावा था कि मोहल्ला क्लिनिक से कहीं बेहतर ये केंद्र होंगे।
मोहल्ला क्लिनिक पर सख्त रुख- पंकज सिंह
डॉ. पंकज सिंह ने कहा कि किराए पर चल रहे मोहल्ला क्लिनिकों और टिन के पोर्टा केबिन में चल रहे क्लिनिक पूरी तरह बेकार हैं और उनकी जगह आयुष्मान आरोग्य मंदिर बनेंगे। शहरी आश्रय सुधार बोर्ड और बारात घरों का इसके लिए उपयोग किया जाएगा।
पंकज सिंह ने नर्सों और डॉक्टरों की कमी पर क्या कहा?
मंत्री ने कहा कि सरकारी अस्पतालों में डॉक्टरों और नर्सों की कमी 21 प्रतिशत थी, जो अब 16 प्रतिशत रह गई है। अगले कुछ महीनों में सरकार इस कमी को पूरी तरह से दूर करने की कोशिश करेगी। नर्सों और डॉक्टरों की नियुक्ति भी जारी है।
दिल्ली में स्वास्थ्य इन्फ्रास्ट्रक्चर भी सुधर रहा है। दिल्ली के सरकारी अस्पतालों में बेड बढ़ाने का काम शुरू हो चुका है, केंद्र सरकार के साथ आयुष्मान भारत हेल्थ इंफ्रास्ट्रक्चर मिशन (ABHIM) पर हस्ताक्षर करने के बाद से. इसके अलावा, केंद्र सरकार ने राज्य को 2400 करोड़ रुपये का भुगतान किया है, जिससे शेष अस्पतालों को जल्दी से बनाया जा सके।
डॉ. पंकज सिंह ने कहा कि पिछली सरकार केवल “शीशमहल” बनाने में व्यस्त थी और 10,000 नए बेड जोड़ने का लक्ष्य था, लेकिन 1,322 बेड जोड़े गए। उनका कहना था कि उनकी सरकार अब चाहती है कि दिल्लीवासियों को लगे कि वे राजधानी में रह रहे हैं।
अनियमितताओं पर हुई कार्रवाई- पंकज सिंह
मंत्री ने कहा कि निरीक्षण के दौरान उन्हें एक्सपायर्ड दवाइयां और ब्लैकलिस्टेड कंपनियों को दिए गए टेंडर मिले, जिन पर अब रोक लगा दी गई है। साथ ही, पूर्ववर्ती सरकार द्वारा बंद किए गए जच्चा-बच्चा केंद्रों को फिर से शुरू किया जा रहा है और उन्होंने नवीनीकरण किया है।