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चेतन सिंह जौड़ामाजरा: पंजाब द्वारा इंग्लैंड को लीची निर्यात में वृद्धि करने के लिए नए अवसर खोज रहे हैं

पंजाब से कृषि संबंधी निर्यात संभावनाओं को बढ़ाने और अंतरराष्ट्रीय सहयोग को उत्साहित करने पर केंद्रित इस उच्च स्तरीय बैठक के दौरान चेतन सिंह जौड़ामाजरा ने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व वाली सरकार राज्य के उत्पादों को वैश्विक स्तर पर बनता सथान दिलाने की दूर-दर्शी सोच रखती है।

चेतन सिंह जौड़ामाजरा: पंजाब के बागबानी मंत्री चेतन सिंह जौड़ामाजरा आज इंग्लैंड (यूके) की डिप्टी हाई कमिश्नर श्रीमति कैरोलिन रोवेट से मिले. उन्होंने भविष्य में लीची के निर्यात संबंधी अगली रणनीति और खेती सहायक तकनीकों को साझा एवं उत्साहित करने के मद्देनज़र विचार-विर्मश किया गया।

चेतन सिंह जौड़ामाजरा ने इस उच्च स्तरीय बैठक में कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व वाली सरकार राज्य के उत्पादों को वैश्विक स्तर पर बनता सथान दिलाने की दूरदर्शी सोच रखती है. उन्होंने कहा कि पंजाब से कृषि संबंधी निर्यात संभावनाओं को बढ़ाने और अंतरराष्ट्रीय सहयोग को बढ़ावा देने पर केंद्रित है।

हाल ही में राज्य से लीची निर्यात करने का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि सरकार की यह कार्रवाई राज्य के उत्पादों को विश्व भर में नए बाज़ारों में बढ़ावा देने के लिए एक नया उदाहरण है।

बैठक के दौरान पंजाब के निर्यात के लिए एकीकृत ब्रांड के विकास सहित सौर ऊर्जा, आर्टिफिशियल इंटैलीजेंस व ड्रोन मैपिंग, खेती की उन्नत तकनीकें, खेती कारोबार उद्यमों संबंधी अवसर एंव कार्बन, वाटर क्रेडिट की तलाश के बारे संभावी सहयोग से संबंधित विस्थारपूर्वक चर्चा की गई।

श्रीमति रोवेट ने लीची निर्यात कार्यक्रम में गहरी रुचि व्यक्त की और पंजाब और ब्रिटेन में भविष्य में सहयोग के लिए आगे रूप-रेखा बनाने का भरोसा व्यक्त किया। जौड़ामाजरा ने कहा कि राज्य से शीघ्र ही लीची की अगली बड़ी खेप इंग्लैंड भेजी जाएगी।

बता दें कि मुख्यमंत्री भगवंत सिंह मान के नेतृत्व वाली सरकार द्वारा कृषि और प्रोसैसड फ़ूड प्रोडक्टस एक्सपोर्ट डिवैल्पमैंट अथारिटी (अपेडा) के सहयोग से हाल ही में शुरू किया गया लीची निर्यात पंजाब के कृषि क्षेत्र के लिए बहुत महत्वपूर्ण है।

लीची राज्य के नीम-पहाड़ी जिलों पठानकोट, गुरदासपुर और होशियारपुर से निर्यात की जाती है, जो अपने गहरे लाल रंग और मिठास के कारण लोकप्रिय है।

3.250 हेक्टेयर क्षेत्रफल में लीची की खेती की जाती है, जिससे लगभग 13,000 मीटरक टन लीची की सालाना पैदावार होती है. इससे पंजाब को विश्व लीची मंडी में बड़ा काश्तकार माना जाता है। डायरैक्टर बाग़बानी श्रीमति शैलिन्दर कौर सहित अन्य अधिकारी बैठक में उपस्थित थे।

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