CM Yogi Adityanath ने टी0बी0 मुक्त भारत के सम्बन्ध में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से समीक्षा बैठक की

CM Yogi Adityanath: प्रधानमंत्री जी ने देश के समक्ष वर्ष 2025 तक टी0बी0 मुक्त भारत का लक्ष्य रखा, देश की सबसे बड़ी आबादी वाला राज्य होने के कारण उ0प्र0 की जिम्मेदारी सबसे ज्यादा

उत्तर प्रदेश के CM Yogi Adityanath ने यहां अपने सरकारी आवास पर टी0बी0 मुक्त भारत के सम्बन्ध में शासन स्तर के वरिष्ठ अधिकारियों, प्रदेश के सभी जनपदों के जिलाधिकारियों एवं अन्य अधिकारियों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से समीक्षा बैठक की। इस दौरान उनके समक्ष राष्ट्रीय क्षय उन्मूलन कार्यक्रम के अन्तर्गत 100 दिवसीय सघन टी0बी0 अभियान के सम्बन्ध में एक प्रस्तुतीकरण किया गया, जिसमें मुख्यमंत्री जी ने आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश का कोविड-19 प्रबंधन पूरे देश में मॉडल बनकर उभरा था, जिसकी सराहना पूरे विश्व में हुई थी। उसी प्रबन्धन को आधार बनाकर टी0बी0 नियंत्रण अभियान को आगे बढ़ाया जाए। इसके लिए आशा, आंगनबाड़ी और ए0एन0एम0 कार्यकत्री घर-घर जाकर टी0बी0 स्क्रीनिंग की कार्रवाई आगे बढ़ाएं।

मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने देश के समक्ष वर्ष 2025 तक टी0बी0 मुक्त भारत का लक्ष्य रखा है। इसके तहत देश की सबसे बड़ी आबादी वाला राज्य होने के कारण उत्तर प्रदेश की जिम्मेदारी सबसे ज्यादा है। उन्होंने कहा कि पायलेट प्रोजेक्ट के तहत प्रदेश के 15 जनपदों में चलाए गए राष्ट्रीय क्षय उन्मूलन कार्यक्रम के परिणाम संतोषजनक हैं। इसको देखते हुए इस विशेष अभियान कोप्रदेश के सभी 75 जनपदों में चलाया जाए।

मुख्यमंत्री जी ने निर्देशित किया कि जनभागीदारी के माध्यम से क्षय उन्मूलन अभियान को आंदोलन बनाया जाए। जनभागीदारी बढ़ाने हेतु प्रभावशाली व्यक्तियों, भूतपूर्व वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारियों, भूतपूर्व कुलपति, धार्मिक नेताओं, निर्वाचित प्रतिनिधियों, विभिन्न विभागों, उद्योगों, गैर सरकारी संगठनों, टी0बी0 विजेताओं (टी0बी0 से सफलतापूर्वक ठीक हुए रोगी), निःक्षय मित्रों तथा निजी स्वास्थ्य क्षेत्र की भागीदारी सुनिश्चित की जाए।

मुख्यमंत्री जी ने कहा कि उप मुख्यमंत्री के स्तर पर एक पत्र भेजकर सभी मंत्रीगणों, सांसदों, विधायकों सहित अन्य सभी जनप्रतिनिधियों को टी0बी0 उन्मूलन अभियान में सक्रिय भागीदारी की अपील की जाए, ताकि टी0बी0 जैसी गंभीर बीमारी का उन्मूलन सुनिश्चित किया जा सके। उन्होंने निर्देश दिए कि मुख्य सचिव एवं प्रमुख सचिव स्तर पर इस अभियान की साप्ताहिक, पाक्षिक एवं मासिक समीक्षा की जाए। उन्होंने इस अभियान के दृष्टिगत जनपद स्तर पर जिलाधिकारी, मुख्य चिकित्साधिकारी एवं मुख्य विकास अधिकारी की एक त्रिस्तरीय कमेटी का गठन करने के निर्देश दिए।यह कमेटी इस अभियान की नियमित समीक्षा करे।

मुख्यमंत्री जी ने कहा कि प्रदेश में टी0बी0 की जांच की सुविधाओं में हुई बढ़ोत्तरी का परिणाम है कि पिछले तीन वर्षों में टी0बी0 नोटीफिकेशन 4.46 लाख से बढ़कर आज 6.59 लाख हो गए हैं। निःक्षय पोषण योजना के अंतर्गत टी0बी0 रोगियों के पोषण हेतु उनके खाते में सीधे डी0बी0टी0 के माध्यम से वर्ष 2018 से दिसम्बर, 2024 तक लगभग 36 लाख रोगियों को 766 करोड़ रुपये की धनराशि पहुंचाई गई है। टी0बी0 उपचार की सफलता दर 79 प्रतिशत (वर्ष 2017) से बढ़कर 91.5 प्रतिशत (वर्ष 2024) हो गई है।

उन्होंने कहा कि इस अभियान में निःक्षय मित्रों की भूमिका सबसे महत्वपूर्ण है। इसके दृष्टिगत निःक्षय मित्रों की संख्या बढ़ाकर टी0बी0 मरीजों को गोद लेने के लिए प्रेरित किया जाए। इसमें प्रदेश के सभी जनप्रतिनिधिगण, उद्यमी एवं समाज के प्रबुद्ध वर्ग के लोगों को जोड़ा जाए, जो निःक्षय मित्र बनकर कार्य करें।

मुख्यमंत्री जी ने निर्देश देते हुए कहा कि इस अभियान को और प्रभावी बनाने और इसकी बेहतर मॉनिटिरिंग के लिए एक पोर्टल विकसित किया जाए, जिस पर टी0बी0 उन्मूलन को लेकर चल रही गतिविधियों को प्रतिदिन अपडेट किया जाए। मोबाइल मेडिकल वैन, मोबाइल ट्रू नेट मशीन, मोबाइल एक्स-रे मशीनों की यूनिट को बढ़ाया जाए, जिससे जांच और स्क्रीनिंग की प्रक्रिया को और तेज किया जा सके। इसमें सी0एस0आर0 का भी सहयोग लिया जाए। उन्होंने कहा कि बेसिक, माध्यमिक, उच्च व तकनीकी शिक्षा विभाग, पंचायती राज, महिला एवं बाल विकास, श्रम सेवा व गृह एवं कारागार विभाग, स्वास्थ्य विभाग के साथ समन्वय बनाकर टी0बी0 उन्मूलन के अभियान को तेजी के साथ आगे बढ़ाएं।

बैठक में उप मुख्यमंत्री श्री ब्रजेश पाठक, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य राज्य मंत्री श्री मयंकेश्वर शरण सिंह सहित अन्य जनप्रतिनिधिगण, मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह तथा अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

Exit mobile version