Jaya Ekadashi 2025: जया एकादशी व्रत के दिन इन सात बातों का ध्यान रखें, ये गलती न करें

Jaya Ekadashi 2025: हिंदू पंचांग के अनुसार, 8 फरवरी 2025 को जया एकादशी होगी। इस दिन लक्ष्मी-नारायण की पूजा की जाती है। इस दिन कुछ विशेष बातों का भी ध्यान रखने की सलाह दी जाती है।

Jaya Ekadashi 2025: हर महीने की शुक्ल पक्ष और कृष्ण पक्ष की एकादशी तिथि जगत के पालनहार श्रीहरि विष्णु की पूजा के लिए समर्पित है। जया एकादशी माघ शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को मनाई जाती है। द्रिक पंचांग में 8 फरवरी 2025 को जया एकादशी है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, जया एकादशी का व्रत रखने से जीवन के सभी संकट दूर होते हैं। घर में सुख-शांति बनी रहती है और आर्थिक समस्याएं दूर होती हैं। ऐसी मान्यता है कि जया एकादशी के दिन व्रत रखने से व्यक्ति भूत-पिशाच के योनि में नहीं जाता है और मनुष्य को मोक्ष की प्राप्ति होती है। जया एकादशी के दिन व्रत-उपवास करने से साधक के सभी पाप नष्ट होते हैं, लेकिन इस दिन कुछ बातों का भी ध्यान रखना चाहिए। क्या आप जानते हैं कि जया एकादशी पर क्या ध्यान रखना चाहिए?

जया एकादशी पर इन सात बातों का ध्यान रखें

एकादशी व्रत के दिन अपशब्द नहीं बोलना चाहिए। मधुर बोलें और अपनी वाणी पर नियंत्रण रखें।

एकादशी व्रत करते समय ब्रह्मचर्य के नियमों का पालन करना आवश्यक है।

एकादशी व्रत पर मांस-मदिरा, लहसुन-प्याज, मसूर की दाल, गाजर और गोभी जैसे तामसिक भोजन नहीं खाना चाहिए।

एकादशी के दिन बाल, दाढ़ी और नाखून कटवाना भी वर्जित है।

एकादशी के दिन तुलसी का पत्ता नहीं तोड़ना चाहिए; इसके बजाय, विष्णु की पूजा में इस्तेमाल करने के लिए एक दिन पहले ही तुलसी का पत्ता तोड़कर रखना चाहिए।

एकादशी व्रत के दिन चावल नहीं खाना चाहिए।

जया एकादशी के दिन आप अपनी क्षमतानुसार दान दे सकते हैं। इस दिन ब्राह्मणों को भोजन और दक्षिणा दें।

जया एकादशी के दिन स्नानादि के बाद श्रीहरि विष्णु और मां लक्ष्मी की पूजा-अर्चना करें। इसके बाद विष्णुजी के मंत्र ‘ऊँ नमो भगवते वासुदेवाय नमः’ का जाप करें। विष्णु सहस्त्र नाम का पाठ करें।

 

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